Deen Mai Har Naya kam Bidat Hai Aur Har Bidat Gumrahi Hai

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• NABI saw Ka Farman .

• Deen Mai Har Naya kam Bidat Hai Aur Har Bidat Gumrahi Hai ?

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∆-हज़रते इरबाज़ रज़ियल्लाहो तआला अन्ह ने बयान किया कि रसूलुल्लाह सल्लल्लाहो अलैहे वसल्लम ने हमें एक दिन नमाज़ पढ़ाई फिर हमारी तरफ मुँह कर लिया और वअज़ फरमाया बड़ा ही बलीग़ और जिमेअ वअज़ ऐसा कि इससे हमारी आँखें बह पड़ीं और दिल दहल गये एक कहने वाले ने कहा ऐ अल्लाह के रसूल ! यह तो गोया अल्विदाई वअज़ था तो आप हमें क्या वसिय्यत फरमाते है ? 


*फरमाया मै तुम्हें वसिय्यत करता हूँ कि अल्लाह तआला का तक़्वा इख्तियार किये रखना और अपने हुक्काम के अहकाम सुनना और मानना ख्वाह कोई हब्शी गुलाम ही क्यों न हो बिलाशुबह तुममे से जो मेरे बअद ज़िन्दह रहा वह बहुत इख्तिलाफ देखेगा चुनाँचे इन हालात मे मेरी सुन्हो.

 और मेरे खुलफा की सुन्नत अपनाए रखना खुलफा जो अस्हाब ए रशद व हिदायत है सुन्नत को खूब मज़बूती से थामना बल्कि दाढ़ों से पकड़े रहना-


*नई नई बिद्आत व इख्तिराआत से अपने आपको बचाए रखना बिलाशुबह हर नई बात बिद्अत है और हर बिद्अत गुमराही है ।-


*सुनन अबू दाऊद,किताबुस्सुन्नह ,हदीस, नम्बर 4607,इस्नादह सही,तिर्मिज़ी 2676,सही इब्ने हिब्बान 102~


∆-सहाबिये रसूल का क़ौल* हज़रते मुआज़ रज़ियल्लाहो तआला अन्ह का फरमान है कि नई ईजाद करदह बिद्अत से बचो क्योंकि जो भी बिद्अत ईजाद की जाय वह गुमराही है ।


-(सुनन दारमी,मुक़द्दमह,बाब तगय्यरि ज़मानि वमा यह्दुसु फीहि,हदीस नम्बर 205 (67),इस्नादह सही,अबू दाऊद 4611}


√ इमाम हसन बसरी रहमतुल्लाह अलैह का क़ौल है कि  दीन मे लोगों के ईजाद करदह नए कामों से बचो क्योंकि बदतरीम काम नए ईजाद करदह है ।


-(अल् ज़ुहद लिल इमाम अहमद ,सफह नम्बर 334)


√ अइम्मा इमाम मालिक का क़ौल* 

* इमाम मालिक रहमतुल्लाह अलैह ने फरमाया कि जिसने इस्लाम मे कोई बिद्अत जारी की और वह उसे अच्छा खयाल करता है तो यक़ीनन उसका गुमान है कि मुहम्मद सल्लल्लाहो अलैहे वसल्लम ने रिसालत मे ख्यानत की है क्योंकि अल्लाह तआला ने फरमाया है  -

*आज मैंने तुम्हारे लिए तुम्हारा दीन मुकम्मल कर दिया -सूरह माइदह आयत नम्बर 3-


* पस जो उस रोज़ दीन नहीं था वह आज भी दीन नहीं हो सकता ।

*(शरह उसूल एअतेक़ाद अहले सुन्नत लिल् जमाअत लिल् कलाई  1/176)

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